स्वास्थ्य मुद्दों का समाधान करने के लिए जागरुकता जरूरी: भारत
27-May-2024 10:48 PM 5398
नयी दिल्ली/जिनेवा 27 मई (संवाददाता) केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय में सचिव अपूर्व चंद्रा ने कहा है कि सूचना और जागरूकता के साथ-साथ निवारक उपायों जैसे सामुदायिक उपायों पर ध्यान केंद्रित करने का पारंपरिक सार्वजनिक स्वास्थ्य दृष्टिकोण बेहतर स्वास्थ्य परिणामों की कुंजी है। श्री चंद्रा ने सोमवार को स्विट्ज़रलैंड के जिनेवा में विश्व स्वास्थ्य सभा की एक समिति 'ए' को संबोधित करते हुए कहा कि भारत ने सामुदायिक स्तर पर स्वास्थ्य संबंधी मुद्दों का समाधान करने और बेहतर स्वास्थ्य व्यवहार के प्रति समुदायों को शिक्षित करने पर ध्यान केंद्रित करने के लिए स्वास्थ्य और कल्याण केंद्र स्थापित किए हैं। उन्होंने कहा कि कोविड-19 महामारी के दौरान भारत ने न केवल देश के भीतर संकटों का प्रबंधन किया बल्कि "एक विश्व, एक परिवार" की भावना को मूर्त रूप देते हुए दुनिया भर में दवाओं और स्वास्थ्य संबंधी उत्पादों की आपूर्ति भी की। उन्होंने कहा "यह दर्शन सभी के लिए कल्याण को बढ़ावा देने, सार्वभौमिक स्वास्थ्य सेवा की सुविधा प्रदान करने और स्वास्थ्य संबंधी सतत विकास लक्ष्यों को प्राप्त करने के प्रयासों का मार्गदर्शन करता है।" केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव ने संबोधन की शुरुआत इस वर्ष विश्व स्वास्थ्य सभा की थीम "सभी के लिए स्वास्थ्य, सभी के लिए स्वास्थ्य" के भारत के मूल मूल्यों और लोकाचार, यानी "वसुधैव कुटुम्बकम" की व्याख्या के साथ की। उन्होंने कहा कि सभी देश सामूहिक सतत विकास लक्ष्यों की दिशा में काम कर रहे हैं और सभी के लिए स्वास्थ्य सेवाएँ सुनिश्चित कर रहे हैं तो भारत डिजिटल स्वास्थ्य नवाचारों की वकालत करने में अग्रणी भूमिका निभा रहा है। समिति 'ए' की अध्यक्षता भारत करेगा और यह सार्वभौमिक स्वास्थ्य, सार्वजनिक स्वास्थ्य आपातकालीन तैयारी , रोगाणुरोधी प्रतिरोध, जलवायु परिवर्तन और डब्ल्यूएचओ के लिए स्थायी वित्तपोषण करने वाले विभिन्न कार्यक्रम संबंधी विषयों पर चर्चा की सुविधा प्रदान करेगी।...////...
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