31-Jul-2024 11:01 PM
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नयी दिल्ली, 31 जुलाई (संवाददाता) भारतीय वायु सेना पहली बार बहुराष्ट्रीय अभ्यास 'तरंग शक्ति' आयोजित करने जा रही है जो सुलूर और जोधपुर में दो चरणों में होगा।
अभ्यास का मुख्य उद्देश्य भारत में तेजी से बढ़ते स्वदेशी रक्षा पारिस्थितिकी तंत्र को प्रदर्शित करना और आत्मनिर्भरता के प्रति भारत के संकल्प को वयक्त करना है।
वायु सेना उप प्रमुख एयर मार्शल एपी सिंह ने बुधवार कोयहां एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा, " वायु सेना ने 51 मित्र देशों को निमंत्रण दिया था। दस देशों ने इसमें भाग लेने की पुष्टि की है, जो अपने विमानों के साथ भाग लेंगे और 18 देश पर्यवेक्षक के रूप में भाग लेंगे।"
उन्होंने कहा, "इस अभ्यास का उद्देश्य अंतरराष्ट्रीय समुदाय में अपने मित्र देशों के साथ संबंध मजबूत करना है। हवाई संचालन की हमारी आपसी समझ को बढ़ाने के लिए जटिल मिशनों की योजना बनाई गई है। यह यथार्थवादी वातावरण के कई युद्ध परिदृश्यों के अभ्यास को भी बढ़ाएगा।"
उन्होंने कहा कि यह अभ्यास एक-दूसरे के साथ सर्वोत्तम प्रथाओं को साझा करने का उत्कृष्ट अवसर प्रदान करेगा। उन्होंने बताया कि अभ्यास दो भागों में आयोजित किया जाएगा। पहला चरण 6 से 14 अगस्त तक वायु सेना स्टेशन स्टेशन सुलूर में आयोजित किया जाएगा। इस चरण में चार देशों - जर्मनी, फ्रांस, स्पेन और ब्रिटेन की वायु सेना की अपने विमानों के साथ भागीदारी करेंगी।
उन्होंने कहा कि दूसरा चरण- एक से 14 सितंबर तक जोधपुर में आयोजित किया जाएगा और इसमें ऑस्ट्रेलिया, बांग्लादेश, ग्रीस, सिंगापुर, यूएई और अमरीका अपने विमानों के साथ भाग लेंगे।
उन्होंने कहा कि 18 देश ऐसे होंगे, जो अपने पर्यवेक्षक भेजेंगे। उन्होंने कहा, "हम इस अभ्यास में भारतीय वायु सेना की विमानों के साथ-साथ एफ-18, सी 130 विमान, एफ-16 विमान जैसे विमान भी देखेंगे।"
उन्होंने कहा, पहले चरण में भारतीय नौसेना भी हिस्सा लेगी। उन्होंने ने कहा कि उड़ान में तेजस, प्रचंड, ध्रुव और रुद्र जैसे विमान और हेलिकॉप्टर सक्रिय रूप से हिस्सा लेंगे।...////...